जरूरतमंदों तक पारदर्शिता से पहुंचे व्यक्तिगत लाभ की योजनाएं, नव घोषित जिलों में नियुक्त विशेषाधिकारी विकास का रोडमैप तैयार करें – मुख्य सचिव

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जयपुर। मुख्य सचिव  उषा शर्मा ने कहा कि ऐसा मैकेनिज्म विकसित किया जाए जिससे व्यक्तिगत लाभ की योजनाओं के अन्तर्गत सामग्री वितरण में पारदर्शिता के साथ वास्तविक  लाभार्थी तक इसकी पहुंच सुनिश्चित हो सके। उन्होंने कहा कि इन सामग्री के वितरण में कहीं भी अनियमितता पाई जा रही है तो जिम्मेदार अधिकारी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।

मुख्य सचिव शुक्रवार को शासन सचिवालय में संभागीय आयुक्त एवं जिला कलेक्टर्स के साथ वीडियो कांफ्रेस को सम्बोधित कर रही थीं। उन्होंने कहा कि उड़ान, बाल गोपाल दूध वितरण, अन्नपूर्णा, पोषाहार सहित व्यक्तिगत लाभ की सभी योजनाओं में सामग्री वितरण में प्राथमिकता से मॉनीटरिंग की जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि इन योजनाओं का व्यापक प्रचार- प्रसार, मासिक समीक्षा बैठक, वितरण सामग्री का औचक निरीक्षण, लाभार्थियों से फीडबैक सहित विभिन्न कदम उठाने होंगे जिससे इन योजनाओं के क्रियान्वयन में राज्य देश में मॉडल स्टेट बन सके। बैठक में महिला बाल विकास एवं अधिकारिता की प्रमुख शासन सचिव  श्रेया गुहा ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से आई एम शक्ति उड़ान योजना का उद्देश्य, सेनेटरी वितरण के लिए एसओपी पर प्रस्तुतीकरण दिया।
नव घोषित जिलों में नियुक्त विशेषाधिकारी विकास का रोडमैप तैयार करें-
मुख्य सचिव ने नव घोषित जिलों में नियुक्त विशेषाधिकारियों को स्थापित किए जाने वाले कार्यालयों एवं इनके लिए भूमि चिन्हित करने एवं अन्य कार्यों के लिए रोडमैप तैयार करने के निर्देश दिए। उन्होंने सम्बन्धित जिला कलेक्टर्स को नियुक्त विेशेषाधिकारियों के साथ समन्वय कर आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के लिए कहा।
महंगाई राहत कैम्प में अब तक 1.11 करोड़ से अधिक परिवार लाभान्वित-
 शर्मा ने कहा कि यह खुशी की बात है कि मात्रा 21 दिन में महंगाई राहत कैंप (एमआरसी) में अब तक 1.11 करोड़ से अधिक परिवारों को लाभ मिल चुका है तथा लक्ष्य की 55 प्रतिशत जनसंख्या कवर हो चुकी है। उन्होंने कहा कि अब तक  9 हजार 130 कैंप  आयोजित हो चुके हैं तथा 5 करोड से अधिक मुख्यमंत्राी गारंटी कार्ड वितरित किए जा चुकेे हैैं। उन्होंने कहा कि इन कैंप्स में अधिकारी माइक्रो मॉनीटरिंग करें तथा जहां लोग कम आ रहे हैं वहां अधिक प्रचार-प्रसार करें।
उन्होंने सभी कलेक्टर्स को बधाई देते हुए कहा कि सभी की मेहनत से महंगाई राहत कैंप अपने उद्देश्य की प्राप्ति में सफल रहे हैं। मुख्यमंत्राी के सचिव  गौरव गोयल ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से महंगाई राहत कैंप की संख्या, जिलों में लाभार्थियों की स्थिति सहित एमआरसी के विभिन्न बिन्दुओं को विस्तृत तरीके से बताया।
भूमि आवंटन के लंबित प्रकरणों का शीघ्र निस्तारण करें-
मुख्य सचिव ने कहा कि बजट घोषणा वर्ष 2023-24 में भूमि आवंटन से जुड़े सभी प्रकरणों का त्वरित निस्तारण करें। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि चिन्हित वैकल्पिक भवनों के लिए संबंधित विभाग द्वारा शीघ्र कब्जा करने की कार्रवाई की जाए साथ ही इन भवनों का अपग्रेडेशन का कार्य भी किया जाए। इस अवसर पर आयोजना विभाग के प्रमुख शासन सचिव  भवानी सिंह देथा ने सभी जिलों के लंबित भूमि आवंटन के प्रकरणों के बारे में प्रस्तुतीकरण के माध्यम से बताया।
‘प्रशासन गांवों के संग अभियान’ शिविरों का व्यापक प्रचार प्रसार हो-
 शर्मा ने कहा कि ‘प्रशासन गांवों के संग अभियान’ के तहत आयोजित शिविरों का व्यापक प्रचार प्रसार हो जिससे आमजन से जुड़ी समस्याओं का मौके पर निस्तारण संभव हो सके। बैठक में अतिरिक्त मुख्य सचिव राजस्व  अपर्णा अरोरा ने प्रशासन गांवों के संग अभियान में लम्बित आवेदनों को प्रस्तुतीकरण के माध्यम से ताया।
प्रशासन शहरों के संग  में  7 लाख से अधिक पट्टे वितरित-
मुख्य सचिव ने प्रशासन शहरों के संग शिविरों की जिलेवार प्रगति की समीक्षा करते हुए निर्देश दिए कि लम्बित प्रकरणांे का त्वरित निस्तारण कर अधिक से अधिक पट्टे जारी किए जाएं। बैठक में स्वायत्त शासन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि अब तक शिविरों के माध्यम से 7 लाख से अधिक पट्टों का वितरण किया जा चुुका है।
ग्रामीण एवं शहरी ओलम्पिक खेलों की तैयारियां सुनिश्चित हो-
 शर्मा ने प्रदेश में 23 जून से शुरू होने वाले राजीव गांधी ग्रामीण एवं शहरी ओलम्पिक खेल के आयोजन के सम्बन्ध में  सभी जिला कलेक्टर्स को अधिक से अधिक लोगों के पंजीकरण के साथ ही आयोजन पूर्व तैयारियों को सुनिश्चित करने के निर्देश दिए ताकि इन खेलों का सफल आयोजन हो सके। इस दौरान खेल विभाग के शासन सचिव  नरेश ठकराल ने खेलों के रजिस्ट्रेशन, आयोजन के लिए तैयार रूपरेखा  के बारे में जानकारी दी।
साथ ही  शर्मा ने प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना 2.0 एवं राजीव गांधी जल संचय योजना 2.0 के संबंध में जिला कलेक्टर्स को प्राथमिकता के साथ डीपीआर तैयार करने के निर्देश देने के साथ ही स्वास्थ्य संकेतक आधारित एस्पिरेशनल जिलों की स्थिति में सुधार को सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया।
बैठक में सम्बन्धित विभागों के अतिरिक्त मुख्य सचिव, प्रमुख शासन सचिव, संभागीय आयुक्त एवं जिला कलेक्टर्स वीडियों कांफ्रेंसिंग के माध्यम से मौजूद रहे।

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