जयपुर। भूमि विकास बैंकों के ऋणी सदस्यों को राहत देने के लिए राज्य सरकार द्वारा लागू की गई मुख्यमंत्री अवधिपार ब्याज राहत एकमुश्त समझौता योजना को क्रियान्वित करने में बिलाड़ा और चित्तौड़गढ़ प्राथमिक सहकारी भूमि विकास बैंकों द्वारा उत्कृष्ट प्रदर्शन किया जा रहा है। दोनों पीएलडीबी अब तक राज्य औसत से तीन गुना से अधिक राशि की बकाया वसूली कर चुके हैं और प्रदर्शन की दृष्टि से राज्य में क्रमशः प्रथम एवं द्वितीय स्थान पर हैं। बिलाड़ा पीएलडीबी 62.03 प्रतिशत वसूली के साथ राज्य में प्रथम स्थान पर है। बैंक की 214 ऋणी सदस्यों पर 4.82 करोड़ रुपये की राशि बकाया थी। इनमें से 184 ऋणी सदस्यों से 1.90 करोड़ रुपये की आंशिक एवं पूर्ण वसूली प्राप्त की गई तथा 1.09 करोड़ रुपये की राहत प्रदान की गई। कुल पात्र ऋणी सदस्यों में से लगभग 86 प्रतिशत को योजना के दायरे में लाया जा चुका है। इसी प्रकार, चित्तौड़गढ़ पीएलडीबी 59.48 प्रतिशत वसूली के साथ राज्य में द्वितीय स्थान पर है। यहां 273 ऋणी सदस्यों पर 4.74 करोड़ रुपये बकाया था। इनमें से 110 ऋणी सदस्यों द्वारा पूर्ण राशि 1.45 करोड़ रुपये जमा कराये गए एवं इन्हें 1.27 करोड़ रुपये की राहत प्रदान की गई। जबकि, 39 प्रकरणों में ऋणी सदस्यों से 0.10 करोड़ रुपये की आंशिक वसूली प्राप्त हुई है। इस प्रकार, कुल वसूली 2.82 करोड़ रुपये की हुई है। बिलाड़ा और चित्तौड़गढ़ पीएलडीबी के सचिव ने बताया कि बैंक प्रबंधन द्वारा निरन्तर सक्रिय रहते हुए किये गए विभिन्न प्रयासों की वजह से यह संभव हो सका है। बिलाड़ा पीएलडीबी के सचिव रामसुख चौधरी के अनुसार फील्ड स्टाफ, बैंक स्टाफ एवं बैंक प्रबंधन ने अपनी कार्यकुशलता का परिचय देते हुए वसूली के प्रयास किए। बैंक द्वारा ऋणियों से ऋण वितरण के बाद भी निरन्तर गहरा सम्पर्क रखा गया तथा सामाजिक सरोकारों में बढ़-चढ़कर भागीदारी निभाई गई।
मुख्यमंत्री अवधिपार ब्याज राहत एकमुश्त समझौता योजना – बिलाड़ा और चित्तौड़गढ़ प्राथमिक सहकारी भूमि विकास बैंक का श्रेष्ठ प्रदर्शन
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