जयपुर: खान विभाग का डेटा डोमेन पर उपलब्ध होना ईज ऑफ डूइंग की दिशा में बढ़ता कदम होगा-श्री टी. रविकान्त -संबंधित विभागों के बीच होगा बेहतर समन्वय, ओवरलेपिंग की समस्या होगी समाप्त -निवेशक फ्रैंडली डोमेन होने से निवेश और राजस्व में होगी बढ़ोतरी

ram

जयपुर। प्रमुख शासन सचिव माइंस एवं पेट्रोलियम श्री टी. रविकान्त ने कहा कि राज्य की खनिज संपदा का डेटा डोमेन उपलब्ध होना माइनिंग सेक्टर में ईज ऑफ डूइंग की दिशा में महत्वपूर्ण कदम होगा। उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा सूचना एवं प्रौद्योगिकी विभाग से इस तरह के मॉड्यूल तैयार करवाये जा रहे हैं जिससे ओवरलेपिंग के स्थिति ना आयें और प्रदेश में माइनिंग सेक्टर में निवेशकों को आकर्षित करने में सहायक हो सके। विभाग द्वारा इस दिशा में डीाओआईटी के साथ मिलकर काम में तेजी लाई गई है और आने वाले दो से तीन माह में यह कार्य धरातल पर आ जाएगा। उन्होंने कहा कि डोमेन पर उपलब्ध मिनरल डेटा को राजधरा पोर्टल और केन्द्र सरकार के प्रधानमंत्री गति शक्ति पोर्टल से इंटीग्रेट किया जाएगा। प्रमुख शासन सचिव माइंस श्री टी. रविकान्त बुधवार को सचिवालय में माइंस डेटा डोमेन के मॉड्यूल्स कार्य की प्रगति की नोडल अधिकारी अतिरिक्त निदेशक भूविज्ञान श्री आलोक जैन और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग के अधिकारियों के साथ प्रगति की समीक्षा कर रहे थे। मुख्यमंत्री श्री भजन लाल शर्मा माइनिंग सेक्टर को निवेषोन्मुखी, रोजगारोन्मुखी और पारदर्शी बनाने पर जोर देते रहे हैं। उन्होंने कहा कि माइनिंग डेटा के डोमेन पर उपलब्ध होने और राजधरा व पीएमगतिशक्ति से जुड़ने के बाद ओवर लेपिंग की समस्या के साथ ही माइनिंग सेक्टर से जुड़ने वाले निवेशकों और प्रदेश की खनिज संपदा के जिज्ञासु भी लाभान्वित हो सकेंगे। उन्होंने कहा कि राजधरा पर खनिज संपदा और खनिज विभाग से संबंधित डेटा उपलब्ध होने से सबसे बड़ा लाभ ओवरलेपिंग की समस्या का समाधान हो सकेगा। वन, राजस्व, सार्वजनिक निर्माण विभाग सहित विकास कार्यों से जुड़े विभागों को डोमेन पर यह जानकारी उपलब्ध हो सकेगी कि यह मिनरल क्षेत्र है और इससे विकास कार्य आरंभ करने से पहले ही उसी के अनुसार वर्कप्लान तैयार करने में सुविधा होगी। उन्होंने बताया कि विभागों में परस्पर समन्वय नहीं होने से महत्वपूर्ण मिनरल क्षेत्रों में भी ओवरलेपिंग हो जाती है। उन्होंने कहा कि इससे विकास कार्यों से जुड़े विभाग स्वयं राजधरा या पीएमगतिशक्ति पोर्टल पर खान विभाग से उपलब्ध डेटा को देख सकेंगे व ओवरलेपिंग की समस्या नहीं रहेगी। श्री रविकान्त ने इससे ईज ऑफ डूंइग के साथ ही निवेशकों के लिए भी लाभदायक होगी। उन्होंने नोडल अधिकारी श्री आलोक जैन को डीओआईटी से समन्वय बनाते हुए कार्य में तेजी लाने और साप्ताहिक प्रगति समीक्षा कर सरकार को अवगत कराने के निर्देश दिए। उन्होंने प्रत्येक कार्य की टाइमलाइन तय करने के लिए भी कहा। नोडल अधिकारी श्री आलोक जैन ने बताया कि सूचना प्राद्योगिक विभाग को डेटा चरणबद्ध तरीके से उपलब्ध कराया जा रहा है और काम में तेजी आई है। दो मॉड्यूल्स अंतिम चरण में है और उनमें डेटा इंटीग्रेट किया जा रहा है। विभाग और सूचना प्राद्योगिकी विभाग के बीच बेहतर समन्वय से कार्य हो रहा है और लक्ष्य बनाकर आगे बढ़ा जा रहा है। सूचना प्रौद्योगिकी विभाग के एसीपी श्री विजय कुमार ने बताया कि विशेषज्ञ टीम द्वारा दो माड्यूल्स एसेसमेंट ऑफ मिनरल ब्लॉक और इंटीग्रेशन ऑफ मिनरल मेप्स पर अच्छी प्रगति कर ली है। अन्य कार्य को भी टाइम लाइन बनाकर पूरा करने के प्रयास किये जा रहे हैं। बैठक में एसजी श्री सुशील कुमार हुड़ा, माइंस विभाग के आईटी विंग से श्री हेमंत मेनारिया, डीओआईटी से श्री निशांत व श्री जाहिर ने हिस्सा लिया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *