चित्तौड़गढ़। राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं को गांव–गांव तक पहुंचाने के उद्देश्य से आयोजित ग्रामीण सेवा शिविर 2025 जिलेभर में जनहित की उल्लेखनीय मिसाल बन रहे हैं। राशमी उपखंड की विभिन्न ग्राम पंचायतों में गुरुवार 16 अक्टूबर को आयोजित शिविरों में अनेक पुराने राजस्व विवादों का सौहार्दपूर्ण समाधान हुआ तथा चिकित्सा सेवाओं से कई ग्रामीणों को नया जीवन मिला।
राजस्व विभाग द्वारा भूमि विवादों का निस्तारण
राशमी उपखंड की जाड़ना ग्राम पंचायत में राजस्व विभाग ने ग्राम जाड़ना के खातेदार सीताराम पुत्र भगवान लाल पुर्बिया एवं धनराज पुत्र भगवान लाल पुर्बिया के बीच वर्षों पुराने भूमि सीमा विवाद का सौहार्दपूर्ण निस्तारण किया। उपखंड अधिकारी की उपस्थिति में गिरदावर द्वारा मौके की रिपोर्ट तैयार की गई तथा तहसीलदार राशमी ने आपसी सहमति से विभाजन आदेश जारी किया। दोनों खातेदारों को पृथक खाता–खसरे जारी किए गए। इसी प्रकार मरमी ग्राम पंचायत में भी राजस्व विभाग ने गौरीशंकर पुत्र आसाराम दरोगा, निर्मल उर्फ नाथूलाल पुत्र आसाराम दरोगा, भंवरलाल पुत्र मोहनलाल दरोगा एवं मांगीलाल पुत्र मोहनलाल दरोगा के बीच भूमि विवाद का समाधान आपसी सहमति से किया। मौके पर सीमांकन के बाद सभी पक्ष संतुष्ट होकर लौटे और सरकार की “गांव–गांव प्रशासन” पहल की सराहना की।
स्वास्थ्य सेवाओं में उल्लेखनीय उपलब्धि
ग्रामीण सेवा शिविर के दौरान जाड़ना ग्राम पंचायत निवासी भंवरलाल ओड़ ने अपनी प्रेरक कहानी साझा की। टी.बी. से ग्रसित भंवरलाल का उपचार उप स्वास्थ्य केंद्र जाड़ना में 6 माह तक नियमित रूप से किया गया। निक्षय मित्र रंजना शर्मा द्वारा पोषण किट उपलब्ध कराई गई तथा चिकित्सा अधिकारी डॉ. राम सिंह के मार्गदर्शन में संपूर्ण चिकित्सा सेवा दी गई। अब भंवरलाल पूर्णतः स्वस्थ हैं। इसी तरह मरमी ग्राम पंचायत की गंगा देवी राव भी निक्षय योजना के अंतर्गत उपचार प्राप्त कर अब पूरी तरह स्वस्थ हैं। उन्होंने कहा — “निक्षय योजना से मिला सहयोग मेरे जीवन में नई ऊर्जा लेकर आया।”