जिले के माडा गांव में महिला किसान दिवस समारोह का आयोजन

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डूंगरपुर। जन शिक्षा एवं विकास संगठन (पीईडीओ) द्वारा आयोजित राजस्थान के डूंगरपुर के माडा गांव में महिला किसान दिवस समारोह के दौरान एनडीडीबी-सस्टेन प्लस खाद प्रबंधन पहल के तहत घरेलू स्तर के बायोगैस संयंत्रों से उत्पन्न कार्बन क्रेडिट के लिए 120 महिला किसानों को एनडीडीबी के अध्यक्ष डॉ. मीनेश शाह के हाथों भुगतान किया गया।

डूंगरपुर की इन महिला किसानों ने एनडीडीबी-सस्टेन प्लस कार्यक्रम के तहत आंशिक वित्तीय सहायता के साथ बायोगैस संयंत्र स्थापित किया था। एनडीडीबी ने इन संयंत्रों को कार्बन क्रेडिट के लिए पंजीकृत किया था। उत्पन्न क्रेडिट का विधिवत मुद्रीकरण किया गया और भुगतान इन किसानों को हस्तांतरित किया गया।

इस लेन-देन का अनूठा हिस्सा यह था कि 94 महिला किसानों को ये क्रेडिट ‘डिजिटल रुपया के रूप में प्राप्त हुए, जो भारत की केंद्रीय बैंक डिजिटल मुद्रा (सीबीडीसी) है, जिसे भारतीय रिजर्व बैंक ( आरबीआई) द्वारा जारी किया जाता है। पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) ने इस पायलट परियोजना का संचालन करने का बीड़ा उठाया है, जिसमें पहली बार महिला डेयरी किसानों को कार्बन क्रेडिट के भुगतान के लिए ‘डिजिटल रुपया’ का उपयोग किया जा रहा है।

आरबीआई ने डिजिटल रुपया पेश किया है, जो नकदी के बराबर डिजिटल है। यह नकदी से जुड़े भरोसे और लेनदेन के डिजिटल मोड की सुविधा को जोड़ता है। प्रोग्रामेबिलिटी फीचर संस्थाओं को यह सुनिश्चित करने की भी अनुमति देता है कि फंड का उपयोग स्थायी/उत्पादक उद्देश्यों के लिए किया जाए। किसानों के सीबीडीसी वॉलेट में कार्बन क्रेडिट भुगतान का हस्तांतरण डेयरी क्षेत्र में वित्तीय समावेशन, स्थिरता और नवाचार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
एनडीडीबी के अध्यक्ष डॉ. मीनेश शाह ने इस बात पर प्रकाश डाला, ’’एनडीडीबी स्थायी समाधानों के माध्यम से डेयरी पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध है। यह पहल न केवल अक्षय ऊर्जा प्रदान करती है, मिट्टी को समृद्ध करती है, ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन को कम करती है बल्कि यह सुनिश्चित करके किसानों, विशेष रूप से महिलाओं को सशक्त बनाती है कि उन्हें कार्बन बाजारों से सीधे वित्तीय लाभ प्राप्त हों।ष् पंजाब नेशनल बैंक के श्याम सुंदर सिंह, महाप्रबंधक, अंचल कार्यालय, जयपुर ने कहा कि डिजिटल रुपये के इस पायलट प्रोजेक्ट का हिस्सा बनना पीएनबी के लिए गर्व का क्षण है। सुरेंद्र कुमार विश्वकर्मा, मंडल प्रमुख, उदयपुर और विपुल वर्मा, सहायक महाप्रबंधक, प्रधान कार्यालय, नई दिल्ली भी समारोह में उपस्थित थे।

इस अवसर पर पीएनबी ने किसानों के लिए उपलब्ध अपने कृषि/डिजिटल उत्पादों का भी प्रदर्शन किया, विशेष रूप से किसान तत्काल आरआईएन (केटीआर), पीएम सूर्य घर योजना, पीएम विश्वकर्मा योजना, किसान क्रेडिट कार्ड, कृषि अवसंरचना कोष (एआईएफ), प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों का औपचारिकीकरण (पीएमएफएमई) योजनाएं, ताकि समारोह में उपस्थित किसानों और ग्रामीणों में वित्तीय साक्षरता के साथ-साथ डिजिटल साक्षरता भी पैदा की जा सके।

एनडीडीबी, आरबीआई, पीएनबी, एनपीसीआई के अधिकारियों और 2,000 से अधिक किसानों ने इस कार्यक्रम में भाग लिया, जो ग्रामीण आजीविका के साथ कार्बन वित्त को एकीकृत करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है। यह अनूठी संयुक्त पहल किसानों को लाभ पहुंचाने के लिए डिजिटल वित्त और कार्बन बाजारों का लाभ उठाने की एक मिसाल कायम करती है, जिससे भारत में स्केलेबल, जलवायु-लचीले डेयरी विकास का मार्ग प्रशस्त होता है।

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